|
जय गंगाधर हर शिव, जय गिरिजाधीश
त्वं मां पालन नित्यं कृपया जगदीश... हर हर महादेव
कैलासे गिरिशिखरे, कल्पद्रुम विपिने शिव कल्पद्रु विपिने
गुंजति मधुकर पूंजे कुंजवने गहने...हर हर महादेव
कोकिल कूजति खेलति, हंसावन ललिता-शिव...
रचयति कला कलापं नृत्यति संहिता... हर हर महादेव
तस्मिन्ललित सुदेशे शाखा मणि रचिता-शिव...
तन्मध्ये हर निकटे गौरी मुद सहिता... हर हर महादेव
क्रीडां रचयति भूषा रंजित निजमीशम्-शिव...
ब्रह्मादिक सुरसेवित प्रणमतिते शीर्षम... हर हर महादेव
विबुधवधू बहुनृत्यति हृदये सुदसहिता-शिव...
किन्नरगानं कुरुते सप्तस्वर सहित... हर हर महादेव
धिनकत थैथै धिनकत मृदंग वाद्यते-शिव...
कण कण ललित सुवेणु मधुरं नादयते... हर हर महादेव
रूणु रूणु चरणे रचयति नुपूर मुज्वलिता-शिव...
चक्रावर्ते भ्रमयति कुरुते तां धिक्ताम्... हर हर महादेव
तां तां लुपचुप तालं मधुरं नादयते-शिव...
अंगुष्ठांगुली नादं लास्यकतां कुरुते... हर हर महादेव
कर्पूर धौति गौरं पंचानन सहितम्-शिव...
त्रिनयन शशिधर मौले विषधर कण्ठयुतम्... हर हर महादेव
सुंदर जटा कलापं पावकयुत भालम्-शिव...
त्रिशूल डमरू पिनाकं करघृत नृकपालम्... हर हर महादेव
शंख निनादं कृत्वाझल्लरी नादयते-शिव...
नीराजयते ब्रह्मा वेद ऋचां पठते... हर हर महादेव
इति मृदुचरण सरोजे ह्रदिकमले घृत्वा-शिव...
अवलोकयति महेशम् ईशम् अभिनत्वा... हर हर महादेव
रुंड-रचित उर माला पन्नगमुपवतीतम्-शिव...
वाम विभागे रूपम् अति ललितम्... हर हर महादेव
सकल शरीरे मनसिज कृतभस्या भरणम्-शिव...
इति वृषभध्वजरूपं तापत्रय हरणम्... हर हर महादेव
ध्यानम् आरति समये हृदये इति कृत्वा-शिव...
रामं त्रिजटार्नां ईशम् अभिनत्वा... हर हर महादेव
प्रतिदिनमेवं पठनं संगीतं कुरुते-शिव...
शिव सायुज्यं गच्छति भक्त्याः श्रृणोति... हर हर महादेव
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें